वो खिलाड़ियों का मनोबल बढ़ाये तो तकलीफ
वो सैनिकों का हौंसला बढ़ाये तो तकलीफ।

इतनी क्यों जलती है तुम्हारी तशरीफ?

वो देश का मान बढ़ाये तो तकलीफ
वो देश को पाँचवी बड़ी अर्थव्यवस्था बनाये तो तकलीफ।

वो मेक इन इंडिया का नारा दे तो तकलीफ
वो लोकल फॉर वोकल का नारा दे तो तकलीफ
वो अपने ही उद्योगपतियों, व्यापारियों को आगे बढ़ाये तो तकलीफ।

इतनी क्यों जलती है तुम्हारी तशरीफ?

वो तुम्हारी गालियों का पलटकर जवाब दे तो तकलीफ
वो खामोशी से सब कुछ सहता रहे तो तकलीफ।

वो तुम्हारे भ्रष्टाचार पर नकेल कसे तो तकलीफ
वो तुम्हें तुम्हारे ही तरीकों से निपटाए तो तकलीफ।

इतनी क्यों जलती है तुम्हारी तशरीफ?

वो पाकिस्तान को भिखारी बना दे तो तकलीफ
वो चीन से आँख में आँख डालकर बात करे तो तकलीफ।

वो विश्व में भारत का गौरव बढ़ाये तो तकलीफ
वो केवल राष्ट्र प्रथम की बात करे तो तकलीफ।

इतनी क्यों जलती है तुम्हारी तशरीफ?

वो वंदे भारत चलाये तो तकलीफ
वो रेलों को आधुनिक बनाये तो तकलीफ
वो देश भर में सड़कों-एयरपोर्ट का जाल बिछाये तो तकलीफ।

वो तुम्हारी हर चाल को नेस्तनाबूद कर दे तो तकलीफ
वो तुम्हें दो कौड़ी का बनाकर रख दे तो तकलीफ।

इतनी क्यों जलती है तुम्हारी तशरीफ?

वो विश्व में हिंदुत्व का परचम लहराए तो तकलीफ
वो मंदिर मंदिर जाकर माथा टेके तो तकलीफ।

वो राम को तम्बू से निकालकर मंदिर में विराजित करे तो तकलीफ
वो राम का भव्य मंदिर बनवाये तो तकलीफ।

वो अयोध्या को लाखों दीपकों से सजाये तो तकलीफ
वो राम मंदिर के उद्घाटन का भव्य आयोजन करे तो तकलीफ।

-अज्ञात

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