UP News: एक दौर था जब वैद्य को धरती का भगवान कहा जाता था। वैद्य मरीज को ठीक करने के लिए जी जान लगा देते थे, इसके बदले में उसे इज्जत व सम्मान मिलता था। समय बदला तो वैद्य की शक्ल डॉक्टरों ने ले ली। डॉक्टर बनते ही धरती के भगवान हैवान बन बैठे हैं। सरकारी अस्पतालों में मरीजों व उनके तीमारदारों से जहां मारपीट की घटनाएं पेशे की फजीहत करा रही हैं, वहीं उत्तर प्रदेश के प्रयागराज से अजीबो-गरीब मामला सामने आया है। जहां डॉक्टरों ने डेंगू के एक मरीज (Dengue patients) को कथित तौर पर प्लाज्मा की जगह मीठा नींबू का रस (मौसमी जूस) चढ़ा दिया, जिससे मरीज की मौत हो गई।

उत्तर प्रदेश के एक फर्जी ब्लड बैंक यूनिट का कथित तौर पर पदार्फाश करने वाला एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। इस वीडियो को यहां के एक स्थानीय पत्रकार ने सोशल मीडिया पर शेयर किया है। हालांकि अनजान लोगों को प्लाज्मा और मौसमी (मीठा नीबू) का रस दोनों समान नजर आता है। वहीं वीडियो वायरल होने के बाद हड़कंप मच गया है। लोग डॉक्टरों की हैवानियत को लेकर तरह-तरह के सवाल कर रहे हैं।

ब्रजेश पाठक ने कही सख्त कार्रवाई की बात

उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने घटना के संदर्भ में कहा, मामले की जांच चल रही है और जल्द ही एक परीक्षण रिपोर्ट की आने की उम्मीद है। उन्होंने भरोसा दिलाते हुए कहा कि मामले में दोषी पाए जाने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। इधर प्रदेश में डेंगू (Dengue patients) तेजी से पांव पसाराना शुरू कर दिया है। प्रदेश के अधिकत्तर जिले इस समय डेंगू (Dengue patients) से प्रभावित हैं। डेंगू (Dengue patients) के बढ़ते मामलों को देखते हुए, राज्य सरकार ने प्रदेश के सभी डॉक्टरों और पैरामेडिकल स्टाफ को छुट्टी न लेने को कहा है।

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गौरतलब है कि डेंगू के बढ़ते मामले और मौत की घटनाओं का संज्ञान लेते हुए इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने नगर निगम को डेंगू के नियंत्रण और रोकथाम के लिए उठाए गए कदमों से अवगत कराने का आदेश दिया है। हाई कोर्ट की लखनऊ बेंच ने राज्य सरकार से मेडिकल सुविधाओं के अपग्रेडेशन की जानकारी भी उपलब्ध कराने को कहा है।

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