पटना: कोरोना वायरस से बचने के लिए सरकार टीकाकरण पर जोर दे रही है। सभी को टीका लग सके इसका पूरा प्रयास भी किया जा रहा है। लेकिन डॉक्टरों की तरफ से जारी लापरवाही सरकार की मंशा पर पानी फेर रहा है। लापरवाही का आलम यह है कि जहां एक तरफ लोगों को वैक्सीन लगवाने इंतजार करना पड़ रहा है, वहीं मेडिकल स्टॉफ की गलती से एकसाथ दोनों डोज भी लगा दिए जा रहे हैं। उत्तर प्रदेश के सिद्धार्थनगर के एक गांव में ग्रामीणों को पहली डोज कोविशील्ड और दूसरी डोज कोवैक्सीन लगाए जाने के बाद बिहार में भी इसी तरह का अनोखा मामला सामने आया है। यहां मेडिकल स्टॉफ की लापरवाही के चलते एक महिला को पांच मिनट के अंदर दोनों डोज लगा दी गई। फिलहाल महिला की हालत नियंत्रण में बताई जा रही है।

मामला पटना के पुनपुन इलाके की है। यहां 65 वर्षीय सुनीला देवी टीका लगवाने सेंट पर पहुंची थीं। जहां मेडिकल स्टॅफ ने गलती से उसे पांच मिनट के अंतराल पर कोरोना का दोनों टीका लगा दिया। लापरवाही का आलम यह रहा कि महिला को पहला डोज कोविशील्ड का तो दूसरी डोज कोवैक्सीन की लगाई गई। इसके बाद महिला की तबीयत बिगड़ गई। वह पूरी रात दर्द और बुखार से कराहती रही, लेकिन मेडिकल का कोई स्टॉफ उसे देखने तक नहीं आया। जबकि दोनों कॉकटेल डोज लगाने के बाद मेडिकल स्टॉफ की तरफ से महिला को भरोसा दिलाया गया था कि स्वास्थ्य विभाग की टीम 24 घंटे उसकी निगरानी करेंगे।

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परिवार वालों के मुताबिक महिला को टीका लगाने वाली एएनएम को अपनी गलती पर पछतावा हुआ और वह उसके घर पहुंचकर अपनी इस चूक पर माफी भी मांगी थीं। फिलहाल महिला के घरवालों के साथ—साथ पूरे गांव के लोग इस घटना से सहमे हुए हैं। लोगों को यह डर सता रहा है कि कोरोना होने से लोग खतरे में आ रहे हैं, जबकि डॉक्टर अचछे खासे लोग को मारने पर तुले हुए हैं। लोगों का कहना है कि वह अब टीका नहीं लगवाएंगे। वहीं महिला के घरवालों को भी किसी तरह की अनहोनी होने की आशंका सताए जा रही है।

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