नई दिल्ली। कृषि कानून के विरोध में किसानों की तरफ से जारी आंदोलन को किसी बड़ी साजिश से इनकार नहीं किया जा सकता। विपक्ष की तरफ से किसानों के इस आंदोलन को जिस तरह से हैक करने की कोशिश की गई उसे सब देख चुके हैं। किसानों के नाम पर विपक्ष की तरफ से उन्हें जिस तरह की सुख—सुविधाएं दी गई, उसी तरह अगर विपक्ष उनकी समस्याओं को लेकर गंभीरता दिखाता तो किसानों की स्थिति आज कुछ और होती। फिलहाल दिल्ली पुलिस ने तीस हजारी कोर्ट में लाल किला हिंसा को लेकर चार्जशीट फ़ाइल कर दी है। सूत्रों की मानें तो चार्जशीट में पुलिस ने खुलासा किया है कि 26 जनवरी को लाल किले पर किसानों का पहुंचना सोची समझी साजिश का हिस्सा था। किसान लाल किले पर कब्जा करके इसे नया प्रोटेस्ट साइट बनाना चाहते थे।

पुलिस ने खुलासा किया है कि 26 जनवरी, गणतंत्र दिवस के मौके को सोच—समझकर चुना था। इससे देश और विदेश में सरकार की किरकिरी और शर्मिंदा करना उनका मकसद था। किसान आंदोलन के लिए अच्छी फंडिंग की गई है। चार्जशीट में कहा गया है कि लाल किले पर तिरंगा झंडा उतारकर निशान साहब और किसान झंडा फहराने वाले को बड़ी रकम देने का लालच दिया गया था। पुलिस के चाज्र सीट के अनुसार 26 जनवरी को लाल किले पर हुए किसानों के हिंसक प्रदर्शन की साजिश वर्ष 2020 के नवंबर और दिसंबर महीने में रची गई थी। इतना ही नहीं इसके लिए पंजाब और हरियाणा से बड़ी संख्या में ट्रैक्टरों को खरीदा गया था। ट्रैक्टरों के इस खरीद—फरोख्त से संबंधित डाटा को चार्जशीट में शामिल किया गया है।

दीप सिद्धू और लखा सिधाना मुख्य साजिशकर्ता

दिल्ली क्राइम ब्रांच ने लाल किला हिंसा मामले में दीप सिद्दू, इकबाल सिंह, मनिंदर मोनी और खेमप्रीत सहित 16 लोगों को आरोपी बनाया है। वहीं चार्जशीट में आरोपियों के ऊपर देशद्रोह, दंगा करना, हत्या की कोशिश और डकैती जैसी गंभीर धाराएं लगाई है। पुलिस सूत्रों के मुताबिक चार्जशीट में दीप सिद्धू और लखा सिधाना को लाल किले की हिंसा में मुख्य साजिशकर्ता बनाया गया है। इसी के साथ ही चार्जशीट में कई बड़े किसान नेताओं के नाम भी हैं।

बता दें कि दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने सोमवार को दिल्ली के तीस हजारी कोर्ट में यह चार्जशीट दायर की। सूत्रों के अनुसार दाखिल यह चार्जशीट करीब 3000 पेज की है। इसमें 250 पेज में ऑपरेशनल पार्ट है जिसमें यह लिखा है कि कैसे इस पूरी साजिश को रचा गया और फिर अंजाम दिया गया। वहीं इस मामले में लखा सिधाना सहित 6 अन्य आरोपी अभी भी फरार हैं।

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