बदायूं गैंगरेप और हत्या का मुख्य आरोपी पुजारी गिरफ्तार, पुलिस ने घोषित किया था 50 हजार का इनाम

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बदायूं। उत्तर प्रदेश के बदायूं जनपद के एक गांव में महिला के साथ गैंगरेप कर उसकी हत्या करने के मामले में पुलिस ने मुख्य आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है। 50 वर्षीय महिला के साथ कथित तौर पर सामूहिक दुष्कर्म करने के बाद उसकी हत्या कर घर के बाहर उसकी लाश छोड़कर फरार चल रहे मामले के मुख्य आरोपी गांव के मंदिर के पुजारी को एक नजदीकी गांव से ग्रामीणों की मदद से पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। मुख्य आरोपी पुजारी सत्यानंद बंगल के गांव में अपने एक अनुयायी के घर में छिपा हुआ था। इसकी भनक लगते ही ग्रामीणों ने उसे पकड़ कर पुलिस को सौंप दिया। पुलिस ने आरोपी पुजारी पर 50 हजार रुपए का इनाम घोषित किया था। इससे पहले पुलिस ने दो आरोपियों को घटना के अगले दिन ही गिरफ्तार कर लिया था।

गौरतलब है कि 50 वर्षीय महिला के साथ मंदिर के पुजारी और उसके साथियों ने गैंगरेप किया। दरिंदों ने दरिंदगी की सारी हदें पार करते उसके प्राइवेट पार्ट सहित कई अंगों को क्षतिग्रस्त कर दिया था, जिससे उसकी मौत हो गई। बताते चलें कि महिला आंगनबाड़ी में सहायिका के पद पर कार्यरत थी। उसके पति की मानसिक स्थिति ठीक नहीं है और घर में वह अकेले की कमाने वाली थी। जानकारी के अनुसार 3 जनवरी को शाम 5 बजे के करीब महिला के पास बाबा का फोन आया था। इसी के बाद महिला मंदिर के लिए निकल जाती है। जाते वक्त वह अपने बच्चों से कहकर जाती है कि उसका इंतजार मत करना क्योंकि मंदिर के पास ही उसका मयका है वह रात वहीं रुकेगी।

बदायूं गैंगरेप के बाद महिला की निर्मम हत्या की घटना पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कड़ा रुख अख्तियार करते हुए आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने आरोपियों पर एनएसए के तहत कार्रवाई किए जाने का भी आदेश दिया है। जबकि विपक्ष इस घटना को लेकर सीएम योगी पर हमलावर हो गया है। बसपा मुखिया मायावती, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी और सपा ट्विटर के माध्यम से लगातार सरकार पर हमलावर बने हुए हैं। ज्ञात हो कि मंदिर गई महिला के साथ पुजारी सत्यनारायण, चेला वेदराम और ड्राइवर जसपाल ने गैंगरेप करने के बाद उसके प्राइवेट पार्ट में रॉड डाल दी थी, जिससे उसका आंतरिक हिस्सा क्षतिग्रस्त हो गया था। साथ उसके शरीर के कई हिस्सों पर चोट के निशान पाए गए थे। इस मामले में डीएम ने कहा कि फास्ट ट्रैक कोर्ट में मामला चलेगा और पीड़ित पक्ष को दस लाख रुपए की आर्थिक मदद दी जाएगी।

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