Hindi Kahani: सम्यक दृष्टि का परिणाम

Hindi Kahani: एक राजा था, बहुत प्रभावशाली, बुद्धि और वैभव से संपन्न। आस-पास के राजा भी समय-समय पर उससे परामर्श लिया करते थे। एक दिन राजा अपनी शैया पर लेटे-लेटे…

Kahani: क्रोध में हार की झलक

Kahani: बहुत समय पहले की बात है। आदि शंकराचार्य और मंडन मिश्र के बीच सोलह दिन तक लगातार शास्त्रार्थ चला। शास्त्रार्थ की निर्णायक थीं मंडन मिश्र की धर्म पत्नी देवी…

Pauranik Katha: विनम्रता की जीत

Pauranik Katha: सुबह मेघनाथ से लक्ष्मण का अंतिम युद्ध होने वाला था। वह मेघनाथ जो अब तक अविजित था, जिसकी भुजाओं के बल पर रावण युद्ध कर रहा था, अप्रितम…

Kahani: पेड़ का इनकार

Kahani: एक बड़ी सी नदी के किनारे कुछ पेड़ थे, जिसकी टहनियां नदी के धारा के ऊपर तक भी फैली हुई थीं। एक दिन एक चिड़ियों का परिवार अपने लिए…

Kahani: मौन की महत्ता

Kahani: एक मछलीमार कांटा डाले तालाब के किनारे बैठा था। काफी समय बाद भी कोई मछली कांटे में नहीं फँसी, न ही कोई हलचल हुई तो वह सोचने लगा, कहीं…

Kahani: ऑटो वाले की सात्विक सोच

Kahani: एक व्यक्ति ऑटो से रेलवे स्टेशन जा रहा था। ऑटो वाला बड़े आराम से ऑटो चला रहा था। एक कार अचानक ही पार्किंग से निकलकर रोड पर आ गई।…

Kahani: स्वभाव बदलने की जड़ी-बूटी

Kahani: बहुत समय पहले की बात है, एक वृद्ध संन्यासी हिमालय की पहाड़ियों में कहीं रहता था। वह बड़ा ज्ञानी था और उसकी बुद्धिमत्ता की ख्याति दूर-दूर तक फैली थी।…

Kahani: लहरों से डरना नहीं

Kahani: एक समय की बात है, एक महात्मा नदी किनारे खड़े होकर प्रकृति को निहार रहे थे। कल-कल नदियों का बहना, ठण्डी-ठण्डी हवाएं और पेड़ के पत्तों का झूमना, बहुत…

Kahani: समर्पण का भाव

Kahani: एक बार एक बेहद ख़ूबसूरत महिला समुद्र के किनारे रेत पर टहल रही थी। समुद्र की लहरों के साथ कोई एक बहुत चमकदार पत्थर छोर पर आ गया। महिला…