लखनऊ: अंतरराष्ट्रीय योग दिवस पर विद्या भारती पूर्वी उत्तर प्रदेश की ओर से सरस्वती कुंज निरालानगर स्थित माधव सभागार में योगाभ्यास कराया गया। इस अवसर पर विद्या भारती के वरिष्ठ प्रचारक रामय ने कहा कि योग का संबंध हमारी जीवनचर्या से है, यह हमारा अभिन्न अंग है। योग, प्राणायाम और आसन मन को पवित्र और एकाग्र बनाता है। योग शब्द का अर्थ जोड़ना होता है यानि कि स्वयं से स्वयं को जोड़ना। जब हम स्वयं को स्वयं से जोड़ेंगे तभी हम समाज को जोड़ पाएंगे।
विद्या भारती के वरिष्ठ प्रचारक रामय ने कहा कि योग दुनिया के लिए एक दिवस के रूप में हो सकता है, किन्तु हम सनातनियों का जीवन ही योगमय है, यह हमारे जीवन का अभिन्न अंग है। वर्तमान की आपाधापी में योग हम लोगों से दूर चला जा रहा है। उन्होंने कहा कि इसकी महत्ता को योग प्रशिक्षक ने बताने का प्रयास किया है और हमें योग को अपने नित्य जीवन में अपनाने की जरूरत है। उन्होंने अष्टांग योग के सभी आयामों के महत्व को समझाया और कहा कि यदि हम प्रतिदिन योगाभ्यास करेंगे तो हम रोगों और विकारों से मुक्त होंगे।
इस अवसर पर विद्या भारती के अखिल भारतीय संगठन मंत्री यतीन्द्र, क्षेत्रीय संगठन मंत्री हेमचन्द्र, बालिका शिक्षा प्रमुख उमाशंकर, प्रशिक्षण प्रमुख दिनेश, प्रदेश निरीक्षक राजेन्द्र बाबू, योग प्रशिक्षक सौरभ मिश्रा सहित विद्या भारती पूर्वी उत्तर प्रदेश के पदाधिकारी और कार्यकर्ता उपस्थित रहे।
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