Gorakhpur: अधिकारियों की लापरवाही सरकारी संस्थाओं के लिए बड़ी समस्या बन चुकी है। भ्रष्ट अधिकारियों के चलते फरियादी जहां दर-दर भटकने को मजबूर हैं, वहीं गोरखपुर में अधिकारियों की लापरवाही का हैरान करने वाला मामला सामने आया है। यहां एक युवक ने खुद के लिए भारत रत्न (Bharat Ratna) देने की मांग का आवेदन किया जिसे अधिकारियों ने बिना पढ़े उस पर साइन कर मंजूर भी कर लिया। युवक ने आयुक्त कार्यालय को पत्र लिखकर ‘भारत रत्न’ (Bharat Ratna) देने की मांग की है। वहीं मजेदार बात यह है कि जिले के अधिकारियों ने आवेदन को बिना पढ़े एक के बाद एक कार्रवाई के लिए आगे बढ़ा दिया। इस बीच यह पत्र सोशल मीडिया पर वायरल हो गया। सोशल मीडिया पर पत्र वायरल होने के बाद हर तरफ अधिकारियों की लापरवाही की चर्चा शुरू हो गई है। वहीं इतनी बड़ी लापरवाही पर जिम्मेदार अधिकारी चुप्पी साथ गए हैं। अधिकारियों की चुप्पी के चलते सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे पत्र की आधिकारिक पुष्टि नहीं हो पाई है।
जानकारी के मुताबिक, गोरखपुर जनपद के पिपराइच थाना और सदर तहसील के कुसम्ही बाजार के महराजी गांव के उत्तर टोला के रहने वाले विनोद कुमार गौड़ की तरफ से पत्र लिखा गया है। अक्टूबर माह में यह पत्र लिखा गया है, जिसकी तारीख उसपर अंकित है। पत्र में विनोद कुमार गोंड़ ने मांग की है कि ‘वह 30 सितंबर, 2023 को संध्या वंदन यानी शाम की पूजा के पहले वे ध्यान साधना में बैठकर तपस्या कर रहे थे। अचानक उन्हें अंतःकरण से बहुत तीव्र गति से दो बार आवाज आई कि मुझे भारत रत्न चाहिए, मुझे भारत रत्न चाहिए। इसके बाद उन्होंने अधिकारियों को पत्र लिखकर खुद को ‘भारत रत्न’ देने की मांग कर दी। विनोद कुमार गोंड़ का यह पत्र सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है।
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मजे की बात यह है कि इस पत्र को आयुक्त (कमिश्नर) कार्यालय गोरखपुर के नाम से प्रेषित किया गया है। वहां से इस पत्र को अपर आयुक्त (न्यायिक) की तरफ से कार्रवाई के लिए गोरखपुर के जिलाधिकारी को भेजा गया, जिसपर उनकी बाकायदा मोहर भी लगी है। इसके बाद पत्र जिलाधिकारी, ज्वाइंट मजिस्ट्रेट/एडीएम सदर, तहसीलदार सदर, मुख्य विकास अधिकारी (CDO) के हस्ताक्षर के साथ कार्रवाई के लिए आगे बढ़ा दिया गया है।
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