

चमचे को ताज देके किया देश को बदहाल,
साबरमती के सन्त तूने ये किया कमाल!
थीं हाईफाई नीतियां, चेला था हवाई,
उसने हमारे देश की संस्कृति ही मिटाई।
अंग्रेजियत का था वो अपने देश में दलाल,
साबरमती के सन्त तूने ये किया कमाल!
कश्मीर आधा शत्रु ने घुसकर हड़प लिया,
चेला था यूं उदार कि तिब्बत भी दे दिया।
चढ़ आया चीन खोपड़ी पे ठोंक करके ताल,
साबरमती के सन्त तूने ये किया कमाल!
चेला था भारतीय, पर असली में था अंग्रेज,
हिन्दू से था परहेज तो हिन्दी से था गुरेज।
तुष्टीकरण से देश को जमकर किया हलाल,
साबरमती के सन्त तूने ये किया कमाल!
वो मानता था अपने रिश्तेदारों को महान,
सत्ता पे मार कुंडली बैठा था खानदान।
सब मिल उड़ा रहे थे घोटालों के खूब माल,
साबरमती के सन्त तूने ये किया कमाल!
बापू था तू आदर्श का मजबूत सिपाही,
क्यों मुल्क की तकदीर पे ऐसी मली स्याही?
सरदार और सुभाष की गलने नहीं दी दाल,
साबरमती के सन्त तूने ये किया कमाल!
वैसे तो तुझे गोडसे ने मारी थी गोली,
पर सच है ‘श्याम’ जान तेरी चेले ने ही ली।
चुन-चुन के तेरी नीतियों को कर दिया हलाल!
साबरमती के सन्त तूने ये किया कमाल!
इसे भी पढ़ें: हुआ क्या?
इसे भी पढ़ें: उत्कर्ष दिखाया योगी ने