T Raja Singh: भारतीय जनता पार्टी (Bharatiya Janata Party) ने विधायक टी राजा सिंह (T Raja Singh) का निलंबन रद्द करते हुए उन्हें तेलंगाना चुनाव (Telangana Elections) के लिए गोशामहल (Goshamahal) निर्वाचन क्षेत्र से ही उम्मीदवार घोषित कर दिया है। निलंबन रद्द होने के बाद टी राजा सिंह (T Raja Singh) ने उन पर भरोसा करने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, अमित शाह, जेपी नड्डा, बीएल संतोष, जी किशन रेड्डी, बंदी संजय और के लक्ष्मण का आभार जताते हुए धन्यवाद दिया। टी राजा सिंह (T Raja Singh) ने कहा कि पैगंबर मोहम्मद पर की गई उनकी टिप्पणियों में कुछ भी गलत नहीं था। साथ ही उन्होंने गोशामहल (Goshamahal) से प्रत्याशी बनाए जाने पर आभार भी प्रकट किया।
गोशामहल सीट (Goshamahal Seat) से अपनी उम्मीदवारी के बारे में, टी राजा सिंह ने निर्वाचन क्षेत्र के सांसद असदुद्दीन ओवैसी की आलोचना की। उन्होंने ओवैसी को राष्ट्र-विरोधी बताते हुए उन पर मुस्लिम वोटों को कांग्रेस और अब बीआरएस को बेचने का आरोप भी लगाया। टी राजा सिंह ने गोशामहल सीट से जीतते रहने और देश-विरोधी कहे जाने वालों को जवाब देने का अपना संकल्प भी दोहराया।
भारतीय जनता पार्टी ने तेलंगाना विधायक टी राजा सिंह का निलंबन किया रद्द। गोशामहल निर्वाचन क्षेत्र से बनाया पार्टी उम्मीदवार। पिछले साल प्रोफेट मोहम्मद पर की थी आपत्तिजनक टिप्पणी।#TRajaSingh #BJP #TelanaganaMLA pic.twitter.com/S7uVw6gwFr
— News Chuski (@Newschuski) October 22, 2023
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बीजेपी ने टी राजा का निलंबन लिया वापस
गौरतलब है कि बीते वर्ष अगस्त में पैगंबर मोहम्मद के खिलाफ विवादित बयानबाजी करने के लिए बीजेपी ने टी राजा सिंह को पार्टी से निलंबित कर दिया था। पार्टी की तरफ से टी राजा सिंह को दिए गए कारण बताओ नोटिस के जवाब में उनके स्पष्टीकरण पर विचार करने के बाद, केंद्रीय अनुशासन समिति ने निलंबन हटाने का फैसला किया। भारतीय जनता पार्टी की तरफ से जारी एक प्रेस रिलीज में टी राजा सिंह के निलंबन की जानकारी दी गई है।
पैगंबर मोहम्मद पर टिप्पणी के लिए हुई थी गिरफ्तारी
बीजेपी की ओर से आगामी तेलंगाना विधानसभा चुनाव के लिए जारी उम्मीदवारों की पहली लिस्ट में टी राजा सिंह का नाम भी शामिल है। बता दें कि टी राजा सिंह को एक वीडियो में पैगंबर मोहम्मद विवादित टिप्पणी करने के आरोप में निवारक हिरासत अधिनियम के तहत अगस्त, 2022 में पुलिस ने गिरफ्तार किया था। हालांकि बाद में उन्हें तुरंत जमानत भी मिल गई थी और नवंबर में, तेलंगाना हाई कोर्ट ने उन्हें रिहा करने का आदेश दिया था।
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