Pauranik Katha: गरुड़ देव के ये रहस्य कर देंगे आपको आश्चर्यचकित

Pauranik Katha: गरुड़ भगवान के बारे में सभी जानते होंगे। यह भगवान विष्णु का वाहन हैं। भगवान गरुड़ को विनायक, गरुत्मत्, तार्क्ष्य, वैनतेय, नागान्तक, विष्णुरथ, खगेश्वर, सुपर्ण और पन्नगाशन नाम…

Dussehra पर नीलकंठ का दर्शन करना क्यों माना जाता है शुभ, जानें क्या कथा

Dussehra: दशहरा, जिसे विजयदशमी भी कहा जाता है, अश्विन माह की दसवीं तिथि को मनाया जाता है। यह पर्व बुराई पर अच्छाई और अधर्म पर धर्म की जीत का प्रतीक…

Pauranik Katha: कौन था महिषासुर, कैसे हुई उत्तपत्ति और वध

Pauranik Katha: महिषासुर ब्रह्म ऋषि कश्यप और दनु का पौत्र (पोता) और असुरों के राजा रम्भ का पुत्र था। महिषासुर के पिता रंभ, असुरों के राजा थे। एक बार असुरों…

Navratri: भगवती को माँ दुर्गा क्यों कहा जाता है

Navratri: नवरात्रि चल रही है, जिसे हमलोग दुर्गापूजा के नाम से भी जानते हैं। लेकिन, क्या आप जानते हैं कि माँ भगवती को माँ दुर्गा क्यों कहा जाता है। पौराणिक…

Pauranik Katha: महादानी सूर्यपुत्र कर्ण की मृत्यु का रहस्य, श्रीकमृष्ण ने दी थी मुखग्नि

Pauranik Katha: दुशाशन को जब भीम ने मार कर उसका रक्त पिया और द्रौपदी के केश उसके खून से धुलवाए तो दुर्योधन की आँखों में खून उतर आया उसने आव…

Pauranik Katha: अहिरावण और महिरावण से राम-लक्ष्मण को बचाने के लिए पंचमुखी बने थे हनुमान

Pauranik Katha: लंका में महा बलशाली मेघनाद के साथ बड़ा ही भीषण युद्ध चला। अंतत: मेघनाद मारा गया। रावण जो अब तक मद में चूर था राम सेना, खास तौर…

Pauranik Katha: सूर्य आराधना का अद्भुत फल

Pauranik Katha: महाराज सत्राजित का भगवान भास्कर में स्वाभाविक अनुराग था। उनके नेत्र कमल तो केवल दिन में भगवान सूर्य पर टकटकी लगाये रहते हैं, किंतु सत्राजित की मनरूपी आंखें…

गणेश जी का वक्रतुण्ड स्वरूप, जानें किस तरह की मूर्ति की करनी चाहिए पूजा

Pauranik Katha: क्या कभी आपने ध्यान दिया है कि भगवान गणेश की तस्वीरों और मूर्तियों में उनकी सूंड दाई या कुछ में बाई ओर होती है। सीधी सूंड वाले गणेश…

Pauranik Katha: गया तीर्थ की कथा

Pauranik Katha: ब्रह्माजी जब सृष्टि की रचना कर रहे थे उस दौरान उनसे असुर कुल में गया नामक असुर की रचना हो गई। गया असुरों के संतान रूप में पैदा…

Pauranik Katha: जब ठगे गए गणेश जी

Pauranik Katha: गणेश जी विघ्न विनाशक व शीघ्र प्रसन्न होने वाले देवता हैं। अगर कोई सच्चे मन से गणोश जी की वंदना करता है, तो गौरी नंदन तुरंत प्रसन्न होकर…

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